नए वेरिएंट का कहर: केरल-महाराष्ट्र में कोरोना का तांडव
प्रमुख बिंदु-
नई दिल्ली, 31 मई 2025 (COVID Cases in India): देश में कोरोना वायरस (COVID-19) ने एक बार फिर चिंता बढ़ा दी है। कई महीनों की शांति के बाद, संक्रमण के मामलों में तेजी से वृद्धि देखी जा रही है। स्वास्थ्य मंत्रालय के ताजा आंकड़ों के अनुसार, 30 मई 2025 तक देश में कुल एक्टिव केस 2,710 तक पहुंच गए हैं। पिछले 24 घंटों में सात मौतें भी दर्ज की गई हैं, जिसके बाद इस साल की कुल मृत्यु संख्या 22 हो गई है। केरल, महाराष्ट्र और दिल्ली सबसे ज्यादा प्रभावित राज्य हैं, जहां क्रमशः 1,147, 424 और 294 एक्टिव केस हैं।
सबसे ज्यादा प्रभावित राज्य
केरल: टेस्टिंग का असर
केरल में सबसे ज्यादा 1,147 एक्टिव केस दर्ज किए गए हैं। मई में अकेले 273 नए मामले सामने आए, जिसके बाद राज्य के स्वास्थ्य मंत्री ने सभी जिलों में निगरानी बढ़ाने के निर्देश दिए हैं। अस्पतालों में मास्क अनिवार्य कर दिया गया है, और खांसी या बुखार जैसे लक्षणों वाले लोगों को टेस्ट कराने की सलाह दी गई है। विशेषज्ञों का मानना है कि केरल में ज्यादा टेस्टिंग के कारण मामले अधिक ट्रेस हो रहे हैं।
महाराष्ट्र: मुंबई में बढ़ता खतरा
महाराष्ट्र में 424 एक्टिव केस हैं, जिनमें से मुंबई, पुणे और ठाणे जैसे शहरों में सबसे ज्यादा मामले सामने आए हैं। मई में मुंबई में 95 मामले दर्ज किए गए, हालांकि अस्पताल में भर्ती होने की दर कम रही है। बीएमसी ने गंभीर श्वसन संबंधी बीमारियों (SARI) के लक्षण वाले मरीजों को कोविड टेस्ट कराने की सलाह दी है। पिछले 24 घंटों में राज्य में दो मौतें भी हुई हैं।
दिल्ली: अचानक उछाल
दिल्ली में एक्टिव केसों की संख्या 294 तक पहुंच गई है, जिसमें पिछले 24 घंटों में 77 नए मामले शामिल हैं। 19 मई तक यह संख्या केवल 24 थी, लेकिन एक हफ्ते में 99 नए मामले सामने आए। दिल्ली सरकार ने अस्पतालों को बेड, ऑक्सीजन और दवाइयों की उपलब्धता सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं। एक 60 वर्षीय महिला की मौत ने चिंता और बढ़ा दी है।

राज्यवार केस विवरण (अब तक)
आंध्र प्रदेश: 16 केस, अरुणाचल प्रदेश: 3 केस, असम: 2 केस, चंडीगढ़: 1 केस, छत्तीसगढ़: 3 केस, दिल्ली: 294 केस, गोवा: 7 केस, गुजरात: 223 केस, हरियाणा: 20 केस, जम्मू-कश्मीर: 4 केस, कर्नाटक: 148 केस, केरल: 1,147 केस, मध्य प्रदेश: 10 केस, महाराष्ट्र: 424 केस, मिज़ोरम: 2 केस, ओडिशा: 5 केस, पुडुचेरी: 35 केस, पंजाब: 4 केस, राजस्थान: 51 केस, तमिलनाडु: 148 केस, तेलंगाना: 3 केस, उत्तराखंड: 2 केस, उत्तर प्रदेश: 42 केस और पश्चिम बंगाल: 116 केस
नए वेरिएंट्स: LF.7 और NB.1.8.1
कोरोना के मामलों में इस उछाल के लिए ओमिक्रॉन के दो नए सब-वेरिएंट्स, LF.7 और NB.1.8.1, को जिम्मेदार माना जा रहा है। NB.1.8.1 की पहचान अप्रैल 2025 में तमिलनाडु में हुई थी, जबकि LF.7 के चार मामले गुजरात में पाए गए। विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) ने इन दोनों को ‘वेरिएंट्स अंडर मॉनिटरिंग’ के रूप में वर्गीकृत किया है, लेकिन इन्हें अभी चिंताजनक नहीं माना गया है। इसके अलावा, JN.1 वेरिएंट अभी भी प्रमुख है। विशेषज्ञों का कहना है कि ये वेरिएंट्स प्रतिरक्षा से कुछ हद तक बच सकते हैं, लेकिन गंभीर बीमारी का कारण बनने के सबूत नहीं हैं। लक्षणों में हल्का बुखार, गले में खराश, नाक बहना, और थकान शामिल हैं।

स्वास्थ्य मंत्रालय की सलाह
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने स्थिति पर कड़ी निगरानी रखने की बात कही है। इंटीग्रेटेड डिजीज सर्विलांस प्रोग्राम (IDSP) और भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद (ICMAR) के माध्यम से सांस संबंधी बीमारियों की निगरानी की जा रही है। सभी नए मामलों की जीनोम सीक्वेंसिंग अनिवार्य कर दी गई है ताकि वेरिएंट्स का पता लगाया जा सके। मंत्रालय ने लोगों से घबराने के बजाय सतर्क रहने की अपील की है।
सावधानियां और दिशा-निर्देश
- मास्क का उपयोग: भीड़-भाड़ वाली जगहों पर मास्क पहनें, खासकर बुजुर्गों और पहले से बीमार लोगों के लिए।
- हाथों की स्वच्छता: साबुन या सैनिटाइजर से नियमित रूप से हाथ धोएं।
- टेस्टिंग: बुखार, खांसी या थकान जैसे लक्षण दिखने पर तुरंत कोविड टेस्ट कराएं।
- वैक्सीनेशन: बूस्टर डोज के लिए स्थानीय स्वास्थ्य केंद्रों से संपर्क करें।
- अस्पतालों की तैयारी: सभी राज्यों को बेड, ऑक्सीजन सिलेंडर, और टेस्टिंग किट की उपलब्धता सुनिश्चित करने के निर्देश दिए गए हैं।

कोरोना की यह नई लहर भले ही चिंताजनक हो, लेकिन स्वास्थ्य मंत्रालय और विशेषज्ञों का मानना है कि स्थिति नियंत्रण में है। सतर्कता, टीकाकरण, और उचित सावधानियों के साथ इस वायरस को नियंत्रित किया जा सकता है। लोगों से अपील है कि वे अफवाहों पर ध्यान न दें और केवल विश्वसनीय स्रोतों से जानकारी लें।

राणा अंशुमान सिंह यूनिफाइड भारत के एक उत्साही पत्रकार हैं, जो निष्पक्ष और प्रभावी ख़बरों के सन्दर्भ में जाने जाना पसंद करते हैं। वह सामाजिक मुद्दों, धार्मिक पर्यटन, पर्यावरण, महिलाओं के अधिकारों और राजनीति पर गहन शोध करना पसंद करते हैं। पत्रकारिता के साथ-साथ हिंदी-उर्दू में कविताएँ और ग़ज़लें लिखने के शौकीन राणा भारतीय संस्कृति और सामाजिक बदलाव के प्रति जागरूकता फैलाने के लिए प्रतिबद्ध हैं।